भारत की आजादी के 75 साल पूरे होने पर 'हर घर तिरंगा' अभियान आज से शुरू

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भारत की आजादी के 75वें वर्ष के उपलक्ष्य में तिरंगा को घर लाने और फहराने के लिए लोगों को प्रोत्साहित करने के लिए 'हर घर तिरंगा' अभियान 13 अगस्त से शुरू हो रहा है।

क्या है हर घर तिरंगा अभियान?

  • यह अभियान 15 अगस्त तक चलेगा।

  • इस अभियान में हर जगह भारतीयों को अपने घर पर राष्ट्रीय ध्वज फहराने के लिए प्रेरित करने की परिकल्पना की गई है।

  • अभियान की घोषणा के बाद से अब तक 20 करोड़ से अधिक राष्ट्रीय ध्वज लोगों को उपलब्ध कराए जा चुके हैं।

  • इस पहल के पीछे का विचार लोगों के दिलों में देशभक्ति की भावना जगाना और तिरंगे के बारे में जागरूकता को बढ़ावा देना है।

  • घरों के अलावा सार्वजनिक उपक्रमों, स्थानीय स्वशासी निकायों, सरकारी, शैक्षणिक संस्थानों, व्यावसायिक प्रतिष्ठानों और निजी फर्मों में भी झंडा फहराया जाएगा.

राष्ट्रीय ध्वज के बारे में

  • 22 जुलाई 1947 को संविधान सभा ने राष्ट्रीय ध्वज को अंगीकार किया।

  • मूल रूप से 1923 में पिंगली वेंकय्या द्वारा डिजाइन किए जाने के बाद से जिस ध्वज को चुना गया था, उसमें कई बदलाव किए गए।

  • वेंकैया एक स्वतंत्रता सेनानी थे।

  • उन्हें झंडा वेंकय्या के नाम से जाना जाता था क्योंकि उन्होंने 1916 में भारतीय ध्वज के लिए 30 डिजाइनों पर एक पुस्तक प्रकाशित की थी।

  • 2 अगस्त 2022 को उनकी 146वीं जयंती थी।

ध्‍वज आचार संहिता, 2002 

  • राष्‍ट्रीय ध्‍वज के इस्‍तेमाल, प्रदर्शन और फहराने के नियम ध्‍वज आचार संहिता, 2002 में बताए गए हैं।

  • यह आचार संहिता 26 जनवरी, 2002 को लागू की गई थी। 

  • ध्वज आचार संहिता, 2002, ध्वज के सम्मान और गरिमा को बनाए रखते हुए तिरंगे के अप्रतिबंधित प्रदर्शन की अनुमति देता है।

  • भारतीय ध्वज संहिता, 2002 को तीन भागों में बाँटा गया है--

  • पहले भाग में राष्ट्रीय ध्वज का सामान्य विवरण है।

  • दूसरे भाग में जनता, निजी संगठनों, शैक्षिक संस्थानों आदि के सदस्यों द्वारा राष्ट्रीय ध्वज के प्रदर्शन के विषय में बताया गया है। 

  • तीसरा भाग केंद्र और राज्य सरकारों तथा उनके संगठनों एवं अभिकरणों द्वारा राष्ट्रीय ध्वज फहराने के विषय में जानकारी देता है। इसमें उल्लेख है कि तिरंगे का उपयोग व्यावसायिक उद्देश्यों के लिए नहीं किया जा सकता है।

  • इसके अलावा ध्वज का उपयोग उत्सव के रूप में या किसी भी प्रकार की सजावट के प्रयोजनों के लिए नहीं किया जाना चाहिए।

  • आधिकारिक प्रदर्शन के लिये केवल भारतीय मानक ब्यूरो द्वारा निर्धारित विनिर्देशों के अनुरूप और उसके चिह्न वाले झंडे का उपयोग किया जा सकता है।

राष्ट्रीय ध्वज फहराना मौलिक अधिकार 

  • भारत के मुख्य न्यायाधीश वी एन खरे की अध्यक्षता वाली पीठ ने अपने निर्णय में कहा है कि भारत के संविधान के अनुच्छेद 19 (1) (ए) के तहत, नागरिकों को पूरे वर्ष अपने परिसर में राष्ट्रीय ध्वज फहराने का मौलिक अधिकार है।

  • हालांकि, न्यायालय द्वारा यह भी कहा गया कि परिसर में राष्ट्रीय ध्वज की गरिमा को बनाए रखा जाना चाहिए।

संवैधानिक और वैधानिक प्रावधान

  • अनुच्छेद 51 ए (ए) - संविधान का पालन करना और उसके आदर्शों और संस्थानों, राष्ट्रीय ध्वज और राष्ट्रगान का सम्मान करना।

  • प्रतीक और नाम (अनुचित प्रयोग की रोकथाम) अधिनियम, 1950

  • राष्ट्र-गौरव अपमान-निवारण अधिनियम, 1971

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