1. भारतीय वायु सेना प्रमुख और फ्रांसीसी वायु सेना प्रमुख ने गरुड़ VII अभ्यास में भाग लिया
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भारतीय वायु सेना (आईएएफ) के वायु सेना प्रमुख एयर चीफ मार्शल वीआर चौधरी, और फ्रांसीसी वायु और अंतरिक्ष बल (एफएएसएफ) के वायु सेना प्रमुख जनरल स्टीफन मिल ने जोधपुर में चल रहे युद्धाभ्यास गरुड़ VII में 8 नवंबर 2022 को संयुक्त उड़ान भरी ।
7वां 'गरुड़ ' अभ्यास 26 अक्टूबर से 12 नवंबर 2022 तक वायु सेना स्टेशन जोधपुर में आयोजित किया जा रहा है।
एयर चीफ मार्शल चौधरी ने फ्रांस निर्मित राफेल लड़ाकू विमान उड़ाया जबकि जनरल स्टीफन मिल ने भारतीय सुखोई-30एमकेआई लड़ाकू विमान उड़ाया।
पहली बार स्वदेशी एलसीए तेजस और हल्के लड़ाकू हेलीकॉप्टर (एलसीएच) प्रचंड एक अंतरराष्ट्रीय सैन्य अभ्यास में भाग ले रहे हैं। एलसीए और एलसीएच प्रचंड के अलावा भारतीय वायुसेना के दल में सुखोई-30 एमकेआई, राफेल और जगुआर लड़ाकू विमान एवं साथ ही एमआई-17 हेलीकॉप्टर शामिल हैं । भारतीय वायुसेना की टीम में फ्लाइट रिफ्यूलिंग एयरक्राफ्ट, एवाक्स, एईडब्ल्यू एंड सी और गरुड़ स्पेशल फोर्सेज जैसी कॉम्बैट एनेबलिंग एसेट्स भी शामिल हैं ।
चार फ्रांसीसी वायु सेना के चार राफेल लड़ाकू विमान और एक ए-330 मल्टी रोल टैंकर ट्रांसपोर्ट (एमआरटीटी) विमान अभ्यास में भाग ले रहे हैं।
2. भारतीय नौसेना प्रमुख एडमिरल हरि कुमार अंतर्राष्ट्रीय फ्लीट रिव्यू और मालाबार नौसेना अभ्यास के उद्घाटन समारोह में हिस्सा लेने जापान पहुंचे
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नौसेनाध्यक्ष (सीएनएस) एडमिरल आर हरि कुमार 5 दिवसीय यात्रा पर आज जापान पहुंचे। 5 -9 नवंबर 2022 तक अपनी यात्रा के दौरान वह अंतर्राष्ट्रीय फ्लीट रिव्यू और 26वें मालाबार नौसेना अभ्यास के उद्घाटन समारोह में हिस्सा लेंगे । सीएनएस की जापान यात्रा जापान के साथ उच्च स्तरीय द्विपक्षीय रक्षा संबंधों का प्रतीक है।
जापान में नौसेनाध्यक्ष का आधिकारिक कार्यक्रम
- जापान में नौसेनाध्यक्ष का व्यस्त कार्यक्रम है। वह 06 नवंबर 22 को योकोसुका में जापान मैरीटाइम सेल्फ डिफेंस फोर्स (जेएमएसडीएफ) द्वारा अपने गठन की 70वीं वर्षगांठ के उपलक्ष्य में आयोजित अंतर्राष्ट्रीय फ्लीट रिव्यू (आईएफआर) में हिस्सा लेंगे जापान की नौसेना को जापान में मैरीटाइम सेल्फ डिफेंस फोर्स कहा जाता है।
- वह जापान के योकोहामा में 7 और 8 नवंबर 2022 को आयोजित होने वाले 18वें पश्चिमी प्रशांत नौसेना संगोष्ठी (डब्ल्यूपीएनएस) में भाग लेंगे। भारत पश्चिमी प्रशांत नौसेना संगोष्ठी में एक पर्यवेक्षक देश है।
- वह ऑस्ट्रेलिया, जापान और अमेरिका की भागीदारी के साथ योकोसुका में आयोजित होने वाले मालाबार नौसैनिक अभ्यास के 26वें संस्करण के उद्घाटन समारोह में हिस्सा लेंगे । 1992 में शुरू हुआ मालाबार नौसेना अभ्यास इस साल अपनी 30वीं वर्षगांठ मना रहा है।
- भारतीय नौसेना के दो जहाज आईएनएस शिवालिक और आईएनएस कामोर्टा भी आईएफआर और अभ्यास मालाबार - 2022 में भाग लेने के लिए जापान के योकोसुका पहुंचे हैं। दोनों नौसैनिक जहाज भारत में बनाए गए हैं।
3. भारतीय नौसेना ने ऑस्ट्रेलियाई नौसेना पोत के साथ समुद्री साझेदारी अभ्यास का समापन किया
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भारतीय नौसेना और रॉयल ऑस्ट्रेलियाई नौसेना के बीच समुद्री साझेदारी अभ्यास (पासेक्स) 3 नवंबर 2022 को बंगाल की खाड़ी में संपन्न हुआ। पासेक्स जो 2 और 3 नवंबर 2022 को आयोजित किया गया था उसमे भारतीय नौसेना के जहाज जलाश्व और कवरत्ती तथा रॉयल ऑस्ट्रेलियाई नौसेना के जहाज एचएमएएस एडिलेड और एचएमएएस एंज़ैक शामिल थे, ।
रॉयल ऑस्ट्रेलियाई नौसेना के जहाज एचएमएएस एडिलेड और एचएमएएस अंजैक ने 30 अक्टूबर से 01 नवंबर 2022 तक विशाखापत्तनम का दौरा किया था । इन जहाजो का भारत आगमन ऑस्ट्रेलिया के इंडो-पैसिफिक एंडेवर 2022 का हिस्सा था।
पासेक्स क्याहोता है?
दो नौसेनाओं द्वारा एक पासेक्स अभ्यास किया जाता है ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि इसमें भाग लेने वाली दो नौसेनाएं किसी भी आपदा या युद्ध के समय में सुचारू रूप से समन्वय और संवाद करने में सक्षम हों।
भारतीय नौसेना
भारतीय नौसेना की स्थापना 26 जनवरी 1950 को हुई थी।
यह केंद्रीय रक्षा मंत्रालय के अंतर्गत आता है
राष्ट्रपति नौसेना का सर्वोच्च कमांडर होता है।
वर्तमान नौसेनाध्यक्ष: एडमिरल आर. हरि कुमार
नौसेना दिवस: 4 दिसंबर
नौसेना कमान और उसका मुख्यालय
ऑपरेशनल नेवल कमांड | मुख्यालय |
पश्चिमी नौसेना कमान | मुंबई |
दक्षिणी नौसेना कमान | कोच्चि |
पूर्वी नौसेना कमान | विशाखापत्तनम |
4. भारतीय सेना ने 'आत्मनिर्भरता को प्रोत्साहन देने के लिए पांच मेक-II परियोजनाओं को मंजूरी दी
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भारतीय सेना ने 4 नवंबर को रक्षा खरीद के मेक-II मार्ग के तहत भारतीय उद्योग द्वारा आला प्रौद्योगिकी के विकास के लिए पांच मेक-II परियोजनाओं को मंजूरी दे दी है।
मेक-श्रेणी परियोजनाएं क्या हैं?
रक्षा खरीद प्रक्रिया (डीपीपी) में पूंजी अधिग्रहण की 'मेक' श्रेणी का प्रावधान 'मेक इन इंडिया' पहल के दृष्टिकोण को साकार करने के लिए एक महत्वपूर्ण स्तंभ है।
इसका उद्देश्य तेजी से समय सीमा के भीतर सार्वजनिक और निजी दोनों क्षेत्रों द्वारा आवश्यक रक्षा उपकरण / उत्पाद / प्रणालियों / उप-प्रणालियों / घटकों / भागों के डिजाइन और विकास के माध्यम से स्वदेशी क्षमताओं को बढ़ावा देना है।
'मेक' परियोजना की उप-श्रेणियाँ
मेक-I (सरकार द्वारा वित्त पोषित)
मेक-I' सरकार द्वारा वित्तपोषित परियोजनाओं को संदर्भित करती है।
इसमें भारतीय सुरक्षा प्रोटोकॉल के साथ हल्के टैंक और संचार उपकरण जैसे बिग-टिकट प्लेटफॉर्म का विकास शामिल है।
मेक-II (उद्योग द्वारा वित्त पोषित)
'मेक-II' के तहत उद्योग-वित्तपोषित कार्यक्रमों को कवर किया जाता है।
मेक-II श्रेणी में सैन्य हार्डवेयर के प्रोटोटाइप का विकास या आयात प्रतिस्थापन हेतु इसका उन्नयन शामिल है जिसके लिए कोई सरकारी धन उपलब्ध नहीं कराया जाता है।
पूंजी अधिग्रहण की मेक II प्रक्रिया के तहत सेना पहले से ही 43 परियोजनाओं पर काम कर रही है।
5. सेना कमांडरों का सम्मेलन 7 नवंबर से नई दिल्ली में होगा
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सेना कमांडरों का सम्मेलन नई दिल्ली में 7-11 नवंबर के बीच वर्तमान और उभरती सुरक्षा और प्रशासनिक पहलुओं पर विचार करने और भारतीय सेना के लिए भविष्य की रूपरेखा तैयार करने के लिए आयोजित किया जाएगा।
महत्वपूर्ण तथ्य
सम्मेलन के दौरान, भारतीय सेना का शीर्ष नेतृत्व भारतीय सेना के लिए भविष्य की रूपरेखा तैयार करने के लिए वर्तमान/उभरती सुरक्षा और प्रशासनिक पहलुओं पर विचार किया जाएगा।
सम्मेलन के दौरान नियोजित अन्य गतिविधियों में "समकालीन भारत-चीन संबंध" के साथ-साथ "राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए तकनीकी चुनौतियां" पर प्रख्यात विषय विशेषज्ञों द्वारा वार्ता भी आयोजित किया जाएगा।
सम्मेलन के दौरान, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह 10 नवंबर 2022 को सेना कमांडरों को संबोधित करने और उनके साथ बातचीत करेंगे।
चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ और भारतीय नौसेना और भारतीय वायु सेना के प्रमुख भी त्रि-सेवा तालमेल को बढ़ावा देने के लिए भारतीय सेना के वरिष्ठ नेतृत्व को संबोधित करेंगे।
सेना कमांडरों के सम्मेलन के बारे में
यह एक शीर्ष स्तरीय द्विवार्षिक कार्यक्रम है जो वैचारिक स्तर पर विचार-विमर्श के लिए एक संस्थागत मंच है और भारतीय सेना के लिए महत्वपूर्ण नीतिगत निर्णय लेने में सहायक होता है।
यह एक शीर्ष स्तरीय द्विवार्षिक कार्यक्रम है जो वैचारिक स्तर पर विचार-विमर्श के लिए एक संस्थागत मंच है और भारतीय सेना के लिए महत्वपूर्ण नीतिगत निर्णय लेने में सहायक होता है।
यह भारतीय सेना के वरिष्ठ नेतृत्व के लिए सैन्य मामलों के विभाग और रक्षा विभाग के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ बातचीत करने का एक औपचारिक मंच भी है।
6. कलाईकुंडा स्थित वायु सेना स्टेशन में सिंगापुर वायु सेना (आरएसएएफ) के साथ संयुक्त सैन्य प्रशिक्षण- 2022
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सिंगापुर वायु सेना (RSAF) ने अपना छह सप्ताह लंबा 11वां वार्षिक संयुक्त सैन्य प्रशिक्षण (JMT) 3 नवंबर, 2022 को वायु सेना स्टेशन, कलाईकुंडा में शुरू किया।
महत्वपूर्ण तथ्य
इन दोनों देशों की वायु सेनाओं ने दो साल के अंतराल के बाद इस प्रशिक्षण को फिर से शुरू किया है।
कोविड-19 महामारी के कारण पिछले दो वर्षों के दौरान यह प्रशिक्षण नहीं हो सका था।
इस अभ्यास का द्विपक्षीय चरण 9 से 18 नवंबर, 2022 तक आयोजित किया जाएगा और दोनों वायु सेनाएं उन्नत वायु युद्ध अभ्यास में शामिल होंगी।
जेएमटी- 2022 में आरएसएएफ एफ-16 विमान के साथ हिस्सा ले रही है।
इसके अलावा आईएएफ एसयू-30 एमकेआई, जगुआर, मिग-29 और एलसीए तेजस विमानों को इस अभ्यास में उतारेगी।
यह अभ्यास रक्षा सहयोग के क्षेत्र में भारत और सिंगापुर के बीच मजबूत और लंबे समय से चले आ रहे संबंधों को रेखांकित करता है।
संयुक्त सैन्य प्रशिक्षण का उद्देश्य
इसका उद्देश्य दोनों वायु सेनाओं के बीच पेशेवर संबंध को मजबूत करते हुए इसमें हिस्सा लेने वाले दल को मूल्यवान परिचालन ज्ञान, अनुभव और सर्वश्रेष्ठ अभ्यासों को साझा करने का अवसर प्रदान करना है।
अन्य देशों के साथ भारत का संयुक्त सैन्य अभ्यास
मित्र शक्ति - भारत और श्रीलंका
मैत्री अभ्यास - भारत और थाईलैंड
युद्ध अभ्यास - भारत और अमेरिका
वज्र प्रहार - भारत और अमेरिका
गरुड़ शक्ति - भारत और इंडोनेशिया
नोमैडिक एलीफैंट - भारत और मंगोलिया
शक्ति अभ्यास - भारत और फ्रांस
सूर्य किरण - भारत और नेपाल
सिम्बेक्स - भारत और सिंगापुर
कॉर्पेट - भारत और थाईलैंड
7. भारत यात्रा के दौरान भूटान सेना प्रमुख लुट जनरल बट्टू शेरिंग ने भारतीय सेना प्रमुख जनरल पांडे से मुलाकात की
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आधिकारिक तौर पर चीफ ऑपरेशन ऑफिसर, रॉयल भूटान आर्मी के रूप में जाने जाने वाले भूटानी सेना प्रमुख लेफ्टिनेंट जनरल बट्टू शेरिंग ने अपने भारतीय समकक्ष, भारतीय सेना प्रमुख जनरल मनोज पांडे से मुलाकात की। उन्होंने नई दिल्ली में रक्षा सचिव गिरिधर अरमाने से भी मुलाकात की।
लेफ्टिनेंट जनरल बट्टू शेरिंग 28 अक्टूबर से 02 नवंबर 2022 तक भारत की आधिकारिक यात्रा पर थे। इससे पहले इस साल जुलाई में भारतीय सेना प्रमुख जनरल मनोज पांडे ने भूटान का दौरा किया था ।
भारत भूटान विशेष सैन्य संबंध
भारत- भूटान एक विशेष संबंध साझा करता है और यह दोनों देशों के बीच 1949 की मैत्री और सहयोग संधि द्वारा शासित है, जिसे फरवरी 2007 में भूटान के राजा जिग्मे खेसर नामग्याल वांगचुक की भारत यात्रा के दौरान अद्यतन और हस्ताक्षरित किया गया था।
इस संधि के तहत ,भूटान की सुरक्षा के लिए भारत जिम्मेदार है।
भारतीय सेना ने भूटान में भारतीय सैन्य प्रशिक्षण दल स्थायी रूप से तैनात कर रखा है जो भूटानी सुरक्षा बलों को प्रशिक्षण प्रदान करते हैं।
खतरे की धारणा, सुरक्षा और सीमा प्रबंधन मुद्दों सहित कई प्रमुख मुद्दों पर चर्चा करने के लिए दोनों देशों के बीच नियमित रूप से भारत-भूटान सुरक्षा और सीमा प्रबंधन बैठकें होती हैं।
भूटान का राजतन्त्र
भूटान के राजा: जिग्मे खेसर नामग्याल वांगचुक
प्रधान मंत्री: लोटे शेरिंग
राजधानी: थिम्पू
मुद्रा : नगुलट्रम (ngultrum)
भूटान को "ड्रुक यूल" या "थंडर ड्रैगन की भूमि" के रूप में जाना जाता है।
8. दूसरे चरण की बैलिस्टिक मिसाइल रक्षा इंटरसेप्टर का पहला सफल उड़ान परीक्षण
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रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (डीआरडीओ) ने 2 नवंबर, 2022 को ओडिशा के तट पर एपीजे अब्दुल कलाम द्वीप से लार्ज किल एल्टीट्यूड ब्रैकेट के साथ फेज़- II बैलिस्टिक मिसाइल डिफेंस (बीएमडी) इंटरसेप्टर एडी-1 मिसाइल का पहला सफल उड़ान परीक्षण किया।
इंटरसेप्टर एडी-1 मिसाइल
यह एक लंबी दूरी की इंटरसेप्टर मिसाइल है जिसे लंबी दूरी की बैलिस्टिक मिसाइलों के साथ-साथ विमानों के लो एक्सो-एटमॉस्फेरिक और एंडो-एटमॉस्फेरिक इंटरसेप्शन दोनों के लिए डिज़ाइन किया गया है।
यह दो चरणों वाली सॉलिड मोटर द्वारा संचालित है।
यह मिसाइल के लक्ष्य तक सटीक रूप से मार्गदर्शन करने के लिए स्वदेशी रूप से विकसित उन्नत नियंत्रण प्रणाली, नेविगेशन और गाइडेंस एल्गोरिदम से लैस है।
यह अलग-अलग प्रकार के कई लक्ष्यों पर निशाना साधने की क्षमता रखता है।
इस उड़ान-परीक्षण के दौरान सभी उप-प्रणालियों ने अपेक्षाओं के अनुसार प्रदर्शन किया।
रक्षा अनुसंधान और विकास संगठन (DRDO)
यह भारत सरकार के रक्षा मंत्रालय के तहत एक प्रमुख रक्षा अनुसंधान और विकास एजेंसी है।
इसका उद्देश्य भारत को महत्वपूर्ण रक्षा प्रौद्योगिकी और प्रणालियों में आत्मनिर्भर बनाना है।
इसकी स्थापना 1958 में हुई थी।
मुख्यालय - नई दिल्ली
अध्यक्ष - समीर वी कामत
9. जोजिला युद्ध स्मारक, द्रास में जोजिला दिवस मनाया गया
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1 नवंबर 2022 को द्रास के पास जोजिला युद्ध स्मारक में 'ऑपरेशन बाइसन' में भारतीय सैनिकों द्वारा की गई वीरतापूर्ण कार्यवाही का जश्न मनाने के लिए जोजिला दिवस मनाया गया। 'ऑपरेशन बाइसन' 1948 में लद्दाख के प्रवेश द्वार जोजिला दर्रे की बर्फीली ऊंचाइयों पर शुरू किया गया था।
महत्वपूर्ण तथ्य
लेह की फायर एंड फ्यूरी कोर के द्रास वॉरियर्स के कमांडर ने जोजिला दर्रे को पाकिस्तान घुसपैठियों से मुक्त कराने में शहीद हुए सैनिकों को श्रद्धांजलि देने के लिए पुष्पांजलि अर्पित की।
जोजिला दिवस भारतीय सेना की बहादुरी का अदम्य प्रतीक है।
इस लड़ाई को ऐतिहासिक माना जाता है क्योंकि इतनी ऊंचाई पर पहली बार टैंकों का इस्तेमाल किया गया था।
जोजिला दिवस भारतीय सेना की बहादुरी की अदम्य भावना और 'नेवर से डाई' का प्रतीक है।
जोजिला दर्रे के बारे में
यह राष्ट्रीय राजमार्ग 1 पर स्थित जम्मू और कश्मीर में एक उच्च पर्वतीय दर्रा है।
यह कश्मीर घाटी में श्रीनगर को लद्दाख क्षेत्र के लेह से जोड़ता है।
इसकी ऊंचाई लगभग 3,528 मीटर (11,575 फीट) है, और यह श्रीनगर-लेह राष्ट्रीय राजमार्ग पर फोटू ला के बाद दूसरा सबसे ऊंचा दर्रा है।
इसे ‘बर्फीले तूफान के दर्रे’ के रूप में जाना जाता है।
वर्ष 2018 में ज़ोजिला सुरंग परियोजना शुरू की गई थी। यह एशिया की सबसे लंबी और रणनीतिक द्वि-दिशात्मक सुरंग है।
जोजिला की लड़ाई के बारे में
1947 के भारत-पाकिस्तान युद्ध के दौरान, लद्दाख पर कब्जा करने के अपने अभियान में 1948 में पाकिस्तानी समर्थित आक्रमणकारियों द्वारा ज़ोजिला को जब्त कर लिया गया था।
1 नवंबर, 1948 को ऑपरेशन बाइसन नामक एक हमले में भारतीय सेना द्वारा जोजिला दर्रे पर फिर से कब्जा कर लिया गया था।
ज़ोजिला की लड़ाई उच्च ऊंचाई वाले क्षेत्र में भारतीय सेना के पहले युद्धों में से एक थी।
यह लड़ाई ऐतिहासिक है क्योंकि इतनी ऊंचाई पर टैंकों का पहली बार इस्तेमाल किया गया था।
10. 2022 के नौसेना कमांडरों के सम्मेलन का दूसरा संस्करण
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2022 के नौसेना कमांडरों के सम्मेलन का दूसरा संस्करण 1 नवंबर, 2022 को नई दिल्ली में शुरू हो रहा है।
महत्वपूर्ण तथ्य
चार दिवसीय सम्मेलन के दौरान, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह राष्ट्रीय सुरक्षा से संबंधित मामलों पर नौसेना कमांडरों को संबोधित करेंगे और उनके साथ बातचीत करेंगे।
चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ जनरल अनिल चौहान और भारतीय सेना और भारतीय वायु सेना के प्रमुख भी नौसेना कमांडरों के साथ बातचीत करेंगे।
सम्मेलन के दौरान, नौसेना प्रमुख, अन्य नौसेना कमांडरों के साथ, पिछले कुछ महीनों में भारतीय नौसेना द्वारा किए गए प्रमुख संचालन, सामग्री, रसद, मानव संसाधन विकास, प्रशिक्षण और प्रशासनिक गतिविधियों की समीक्षा करेंगे।
वे भविष्य की महत्वपूर्ण गतिविधियों और पहलों के लिए योजनाओं पर विचार-विमर्श करेंगे।
यह सम्मेलन क्षेत्र की भू-रणनीतिक स्थिति की गतिशीलता और इससे निपटने के लिए नौसेना की तत्परता पर भी केंद्रित होगा।
चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ - जनरल अनिल चौहान
भारतीय वायु सेना के प्रमुख - वी. आर. चौधरी
भारतीय सेना के प्रमुख - जनरल मनोज पांडे
भारतीय नौसेना प्रमुख - एडमिरल आर हरि कुमार