1. खाद्य सुरक्षा सूचकांक में तमिलनाडु सबसे ऊपर
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के तहत भारतीय खाद्य सुरक्षा और मानक प्राधिकरण (एफएसएसएआई) ने राज्य खाद्य सुरक्षा सूचकांक, 2021-2022 जारी की
तमिलनाडु इस साल राज्य खाद्य सुरक्षा सूचकांक में सबसे ऊपर है।
सूचकांक में शीर्ष तीन बड़े राज्य
तमिलनाडु
गुजरात
महाराष्ट्र
सूचकांक में शीर्ष तीन छोटे राज्य
गोवा
मणिपुर
सिक्किम
सूचकांक में शीर्ष तीन केंद्र शासित प्रदेश
जम्मू और कश्मीर
दिल्ली
चंडीगढ़
नई ईट राइट इंडिया पहल की शुरुआत
स्वास्थ्य मंत्री डॉ मनसुख मंडाविया ने एफएसएसएआई द्वारा ईट राइट रिसर्च अवार्ड्स और ग्रांट्स फेज II, ईट राइट क्रिएटिविटी चैलेंज फेज III, स्कूल स्तर पर एक प्रतियोगिता सहित विभिन्न नवीन पहलों की शुरुआत की।
उन्होंने आयुर्वेद आहार के लिए लोगो का अनावरण किया जिसमें आयुर्वेद और अहारा के प्रारंभिक अक्षर शामिल हैं, जिसमें 5 पत्ते प्रकृति के पांच तत्वों के प्रतीक हैं।
राज्य खाद्य सुरक्षा सूचकांक के बारे में
सूचकांक एफएसएसएआई (भारतीय खाद्य सुरक्षा और मानक प्राधिकरण) द्वारा विकसित किया गया है।
इसकी शुरुआत 2018-19 में हुई थी।
इसका उद्देश्य भारत के खाद्य सुरक्षा पारिस्थितिकी तंत्र में एक प्रतिस्पर्धी और सकारात्मक बदलाव लाना है।
यह खाद्य सुरक्षा के पांच महत्वपूर्ण मानकों पर राज्यों के प्रदर्शन को मापता है।
ये पैरामीटर हैं - मानव संसाधन और संस्थागत डेटा, अनुपालन, खाद्य परीक्षण - बुनियादी ढांचा और निगरानी, प्रशिक्षण और क्षमता निर्माण और उपभोक्ता अधिकारिता।
अधिक जानकारी के लिए कृपया 7 जून 2022 के समाचार क्लिक करें
2. एफएसएसएआई की राष्ट्रीय खाद्य प्रयोगशाला का उद्घाटन रक्सौल, बिहार में किया गया
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केंद्रीय स्वास्थ्य और परिवार कल्याण और रसायन और उर्वरक मंत्री श्री मनसुख मंडाविया के द्वारा बिहार के रक्सौल में एफएसएसएआई की राष्ट्रीय खाद्य प्रयोगशाला का उद्घाटन किया गया।
भारत और नेपाल के बीच हुए द्विपक्षीय समझौते के तहत नेपाल से आयातित खाद्य पदार्थों के नमूनों की जांच में लगने वाले समय को कम करने के लिए रक्सौल में इस प्रयोगशाला की स्थापना की गई हैI
वर्ष 2009 में प्रयोगशाला के लिए भवन का निर्माण किया गया था, लेकिन दक्ष कर्मियों की कमी और विभागीय उपेक्षा के चलते यह संस्थान अभी तक केवल कलेक्शन सेंटर के रुप में कार्य करता था।
प्रयोगशाला में तेल, वसायुक्त सामान, पानी, फल और सब्जियां, पेय पदार्थ, अनाज आदि जैसे उत्पादों के परीक्षण की व्यवस्था है।
इसमें उत्पाद की गुणवत्ता और जनजीवन पर पडऩे वाले प्रभावों की जांच की जाती है जिसके बाद व्यवसाय व उपयोग की अनुमति प्रदान की जाती है।
भारतीय खाद्य संरक्षा एवं मानक प्राधिकरण (एफएसएसएआई) के बारे में
केंद्र सरकार द्वारा खाद्य सुरक्षा और मानक अधिनियम, 2006 के तहत भारतीय खाद्य सुरक्षा एवं मानक प्राधिकरण का गठन किया गया था।
इसका संचालन भारत सरकार के स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय के तहत किया जाता है।
मुख्यालय- दिल्ली
कार्य
एफएसएसएआई मानव उपभोग के लिये पौष्टिक खाद्य पदार्थों के उत्पादन, भंडारण, वितरण, बिक्री और आयात की सुरक्षित व्यवस्था सुनिश्चित करने का कार्य करता है।
इसके अलावा यह देश के सभी राज्यों, ज़िला एवं ग्राम पंचायत स्तर पर खाद्य पदार्थों के उत्पादन और बिक्री के निर्धारित मानकों को बनाए रखने में सहयोग करता है।
3. एशिया यूनिवर्सिटी रैंकिंग 2022
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टाइम्स हायर एजुकेशन (THE) द्वारा जारी एशिया यूनिवर्सिटी रैंकिंग 2022 में शामिल 71 भारतीय विश्वविद्यालयों में भारतीय विज्ञान संस्थान (IISc), बेंगलुरु ने सबसे उच्च (42वां ) स्थान प्राप्त कियाI
इस लेटेस्ट एडिशन में 31 देशों के 616 विश्वविद्यालयों को शामिल किया गया है I
टाइम्स हायर एजुकेशन एशिया यूनिवर्सिटी रैंकिंग 2022 में भारत तीसरा प्रतिनिधित्व करने वाला देश है, जिसमें भारत के 71 विश्वविद्यालय शामिल हैं।
टॉप 100 में केवल 4 ही भारतीय विश्वविद्यालय को जगह दी गई है I
पिछले वर्ष की तुलना में टॉप-100 में शामिल सभी भारतीय संस्थानों की रैंकिंग में गिरावट आयी हैI
एशिया यूनिवर्सिटी रैंकिंग 2022 में शामिल प्रमुख भारतीय संस्थान और उनकी रैंक
संस्थान | रैंक |
इंडियन इस्टीट्यूट ऑफ साइंस | 42 |
जेएसएस एकेडमी ऑफ हायर एजुकेशन एंड रिसर्च | 65 |
आईआईटी रोपड़ | 68 |
आईआईटी इंदौर | 87 |
आईआईटी गांधीनगर | 120 |
बनारस हिंदू यूनिवर्सिटी | 153 |
जामिया मिल्लिया इस्लामिया | 160 |
जेएनयू | 167 |
आईआईआईटी दिल्ली | 177 |
4. राष्ट्रपति ने पुणे में स्वर्गीय श्रीमती लक्ष्मीबाई दगडूशेठ हलवाई दत्ता मंदिर ट्रस्ट का उद्घाटन किया
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राष्ट्रपति राम नाथ कोविंद ने 27 मई को पुणे में स्वर्गीय श्रीमती लक्ष्मीबाई दगडूशेठ हलवाई दत्ता मंदिर ट्रस्ट की 125 वीं वर्षगांठ समारोह का उद्घाटन किया।
लक्ष्मीबाई मेमोरियल अवार्ड्स 2022
इस अवसर पर विभिन्न क्षेत्रों की तीन नामचीन महिला अचीवर्स को लक्ष्मीबाई मेमोरियल अवार्ड्स 2022 प्रदान किए गए।
पुरस्कार पाने वालों के नाम हैं - डॉ माधुरी कानिटकर, कुलपति, महाराष्ट्र स्वास्थ्य विज्ञान विश्वविद्यालय; अंतर्राष्ट्रीय बोनसाई विशेषज्ञ डॉ प्राजक्ता काले; और डॉ. भाग्यश्री पाटिल, अध्यक्ष और कार्यकारी निदेशक, डॉ. डी. वाई. पाटिल अभिमत विश्वविद्यालय, पिंपरी।
लक्ष्मीबाई दगडूशेठ हलवाई दत्ता मंदिर के बारे में
यह एक हिंदू मंदिर है जिसे दगदुशेठ गडवे की पत्नी लक्ष्मीबाई दगदुशेठ ने स्थापित किया था।
वह मूल रूप से कर्नाटक की एक लिंगायत व्यापारी थीं।
पुणे में बसने और मीठे और नमकीन स्नैक्स का व्यवसाय स्थापित करने के बाद, परिवार को दगडूशेठ हलवाई के नाम से जाना जाने लगा।
स्वतंत्रता संग्राम के दौरान श्रीमंत दगदूशेठ हलवाई और उनकी पत्नी लक्ष्मीबाई ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई और समाज सेवा की परंपरा बनाई।
यह मंदिर 4 जुलाई 1904 को स्थापित किया गया था और यह श्री दत्तात्रेय को समर्पित है।
महाराष्ट्र में, दत्तात्रेय को तीन हिंदू देवताओं, त्रिमूर्ति-ब्रह्मा, विष्णु और शिव का अवतार माना जाता है।
ऐसा माना जाता है कि इस मंदिर में देवता विशेष रूप से जागृत हैं, जो इसे भक्तों के बीच एक लोकप्रिय स्थान बनाते हैं।
मंदिर दगडूशेठ हलवाई गणपति मंदिर के पास बुधवार पीठ में स्थित है।
2017 में, लक्ष्मीबाई दगडूशेठ हलवाई दत्ता मंदिर पूरी तरह से सौर ऊर्जा से संचालित होने वाला पुणे का पहला मंदिर बन गया।
5. असीमित देयता के लिए तृतीय पक्ष बीमा के लिए मूल प्रीमियम से संबंधित अधिसूचना
सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय ने भारतीय बीमा नियामक और विकास प्राधिकरण के परामर्श से 25 मई को मोटर वाहन (थर्ड पार्टी इंश्योरेंस बेस प्रीमियम एंड लायबिलिटी) नियम, 2022 प्रकाशित किया है।
नियम 1 जून 2022 से लागू होंगे।
विभिन्न वर्गों के वाहनों के लिए असीमित देयता के लिए तृतीय-पक्ष बीमा के लिए आधार प्रीमियम अधिसूचित किया गया है।
नए नियम के अनुसार शैक्षणिक संस्थान बसों के लिए 15 प्रतिशत की छूट प्रदान की गई है, जबकि विंटेज कार के रूप में पंजीकृत निजी कार के लिए प्रीमियम में 50 प्रतिशत की छूट दी गई है।
इलेक्ट्रिक वाहनों पर करीब 15 फीसदी और हाइब्रिड इलेक्ट्रिक वाहनों के प्रीमियम पर 7.5 फीसदी की छूट दी गई है।
6. कुतुबमीनार पूजा स्थल नहीं : एएसआई
भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (एएसआई) ने 24 मई को दिल्ली की एक अदालत के समक्ष कुतुब मीनार परिसर के अंदर हिंदू और जैन देवताओं की पूजा की मांग वाली याचिका का विरोध करते हुए कहा कि यह पूजा स्थल नहीं है और स्मारक की मौजूदा स्थिति को बदला नहीं जा सकता है।
एएसआई ने बताया कि जब कुतुब मीनार को पहली बार 1914 में संरक्षित स्मारक के रूप में अधिसूचित किया गया था उस समय यह परिसर पूजा स्थल नहीं था।
एएसआई ने समझाया कि किसी स्मारक का स्वरुप या प्रकृति उस तारीख को तय किया जाता है जब वह संरक्षण में आता है।
मामला क्या है?
मूल वाद में दावा किया गया था कि कुतुब मीनार परिसर में कुव्वत-उल-इस्लाम मस्जिद के निर्माण के लिए 27 मंदिरों को ध्वस्त कर दिया गया था।
यह याचिका पिछले साल पूजा स्थल (विशेष प्रावधान) अधिनियम, 1991 के प्रावधानों के तहत खारिज कर दी गई थी।
अतिरिक्त जिला न्यायाधीश (एडीजे) ने अब आदेश सुरक्षित रख लिया है।
याचिकाकर्ता ने कहा कि 1991 के अधिनियम पर आधारित मूल वाद को खारिज करना गलत था।
कुतुब मीनार परिसर प्राचीन स्मारक और पुरातत्व स्थल और अवशेष (AMASR) अधिनियम 1958 के दायरे में आता है।
कुतुब मीनार के बारे में
यह 73 मीटर ऊँचा विजयी मीनार है, जिसे 1193 में कुतुब-उद-दीन ऐबक ने दिल्ली के अंतिम हिंदू साम्राज्य की हार के तुरंत बाद बनवाया था।
यह दक्षिण दिल्ली के महरौली क्षेत्र में यूनेस्को की विश्व धरोहर स्थल है।
यह पांच मंजिला लाल बलुआ पत्थर से बना मीनार है।
इसके चारों ओर अलाई-दरवाजा गेट है, जो भारत-मुस्लिम कला की उत्कृष्ट कृति है (1311 में निर्मित)।
इसका निर्माण 1193 में कुतुब-उद-दीन ऐबक द्वारा शुरू किया गया था और इल्तुतमिश द्वारा समाप्त किया गया था।
कुतुब मीनार और उसके स्मारकों को 1993 में यूनेस्को की विश्व धरोहर स्थल की सूची में शामिल किया गया था।
7. स्वच्छ भारत मिशन शहरी 2.0 के तहत केंद्र ने स्वच्छ सर्वेक्षण 2023 लॉन्च किया
केंद्रीय आवास और शहरी मामलों के मंत्रालय ने स्वच्छ भारत मिशन शहरी 2.0 के तहत स्वच्छ सर्वेक्षण - एसएस -2023 का आठवां संस्करण लॉन्च किया है।
आवास और शहरी मामलों के मंत्रालय के सचिव मनोज जोशी ने 24 मई को नई दिल्ली में एक वर्चुअल कार्यक्रम में इसका शुभारंभ किया।
इस वर्ष के लिए सर्वेक्षण का विषय "अपशिष्ट से धन" है, जो स्वच्छ भारत मिशन (शहरी) 2.0 से जुड़ा हुआ है और केंद्र सरकार के 'कचरा मुक्त' शहरों के दृष्टिकोण पर केंद्रित है।
सर्वेक्षण 3R के सिद्धांत को प्राथमिकता देगा - कम करें, रीसायकल करें और पुन: उपयोग करें, ”।
सर्वेक्षण का 2022 संस्करण पूरा हो चुका था और इसके परिणाम तैयार किए जा रहे थे।
स्वच्छ सर्वेक्षण के बारे में
स्वच्छ भारत अभियान के हिस्से के रूप में शुरू किया गया
इसका उद्देश्य भारत को स्वच्छ और खुले में शौच से मुक्त बनाना था।
पहला सर्वेक्षण 2016 में किया गया था और इसमें 73 शहरों को शामिल किया गया था।
2020 तक यह सर्वेक्षण बढ़कर 4242 शहरों तक पहुंच गया और इसे दुनिया का सबसे बड़ा स्वच्छता सर्वेक्षण कहा गया था।
नोडल मंत्रालय - आवास और शहरी मामलों के मंत्रालय
स्वच्छ भारत अभियान के बारे में
लॉन्च किया गया - 2 अक्टूबर 2014 को
लॉन्च किया गया - प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा
उद्देश्य - 2 अक्टूबर 2019 तक 'स्वच्छ भारत' के विजन को प्राप्त करना।
स्लोगन - एक कदम स्वच्छता की ओर
यह 2009 में शुरू किए गए निर्मल भारत अभियान का एक पुनर्गठित संस्करण है।
स्वच्छ भारत मिशन का पहला चरण अक्टूबर 2019 तक चला।
चरण 2 को 2020-21 और 2024-25 के बीच लागू किया जा रहा है।
8. न्यू डेवलपमेंट बैंक ने गुजरात के गिफ्ट सिटी में क्षेत्रीय कार्यालय खोला
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न्यू डेवलपमेंट बैंक (एनडीबी) ने गुजरात इंटरनेशनल फाइनेंस टेक-सिटी (गिफ्ट सिटी) में अपने भारतीय क्षेत्रीय कार्यालय (आईआरओ) के शुभारंभ की घोषणा की हैI
बैंक के क्षेत्रीय कार्यालय के शुभारंभ का उद्देश्य, भारत और बांग्लादेश में बुनियादी ढांचे और सतत विकास की जरूरतों को पूरा करना है, जो एनडीबी के जनादेश के अनुरूप दक्षिण एशिया में आर्थिक विकास और सतत विकास में योगदान देता हैI
भारतीय क्षेत्रीय कार्यालय एनडीबी मुख्यालय के साथ करीबी समन्वय में काम करेगा, प्रारंभिक परियोजना की तैयारी समेत तकनीकी सहायता, पाइपलाइन विकास, परियोजना क्रियान्वयन और निगरानी के साथ-साथ क्षेत्रीय पोर्टफोलियो प्रबंधन पर भी ध्यान केन्द्रित करेगाI
एनडीबी ने आधिकारिक तौर पर 2017 में जोहान्सबर्ग में अपना अफ्रीका क्षेत्रीय केंद्र (ARC) खोला इसके बाद 2019 में एनडीबी द्वारा साओ पाउलो में अमेरिका के क्षेत्रीय कार्यालय (एआरओ) के साथ ब्रासीलिया में एक उप-कार्यालय के स्थापित किया गया थाI
2020 में, एनडीबी ने मास्को में यूरेशियन क्षेत्रीय केंद्र (ERC) की स्थापना की भारतीय क्षेत्रीय कार्यालय(IRO) एनडीबी के कार्यालयों के वैश्विक नेटवर्क का पूरक हैI
न्यू डेवलपमेंट बैंक के बारे में
न्यू डेवलपमेंट बैंक जिसे पहले ब्रिक्स बैंक के अनौपचारिक नाम से भी जाना जाता थाI
ब्रिक्स समूह के देशों द्वारा 15 जुलाई 2014 इसकी स्थापना की गई थीI
बैंक की स्थापना का विचार दिल्ली में आयोजित 2012 में चौथे ब्रिक्स शिखर सम्मेलन में भारत द्वारा प्रस्तावित किया गया था।
27 मार्च 2013 को डरबन, दक्षिण अफ्रीका में आयोजित 5वे ब्रिक्स शिखर सम्मेलन में ब्रिक्स नेताओं द्वारा इसको सहमति दी गयी थी I
मुख्यालय- शंघाई, चीन
महासचिव- के वी कामत
अध्यक्ष- मार्कोश त्रयोजा
9. पीयूष गोयल WEF की दावोस बैठक में भारत का नेतृत्व करेंगे
विश्व आर्थिक मंच यानी वर्ल्ड इकोनॉमिक फोरम (WEF) की दावोस में 22 से 26 मई तक चलने बाली बैठक में भारतीय प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व वाणिज्य और उद्योग मंत्री पीयूष गोयल (Piyush Goyal) करेंगे।
इस बैठक के दौरान यूक्रेन संकट, क्लाइमेट चेंज, कोरोना महामारी जैसे पूरी दुनिया को प्रभावित करने वाले कई बड़े मुद्दों पर चर्चा की जाएगी I
इस बैठक को यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमीर जेलेंस्की, यूरोपीय यूनियन की प्रेसिडेंट उर्सला वॉन डेर लेयेन और जर्मनी की चांसलर ओलाफ शोल्ज़ समेत कई वर्ल्ड लीडर द्वारा संबोधित किया जायेगा I
इस सम्मेलन में दुनिया भर से 50 देशों और राज्यों के प्रमुखों सहित करीब 2500 से ज्यादा नेता, अधिकारी और एक्सपर्ट्स विभिन्न मुद्दों पर अपनी राय रखेंगे I
भारत की तरफ से केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल के नेतृत्व में बड़ी टीम वहां जा रही है जिसमे केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख लाल मांडविया और पेट्रोलियम मंत्री हरदीप सिंह पुरी के अलावा दो मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई और जगनमोहन रेड्डी शामिल हैं I
महाराष्ट्र से आदित्य ठाकरे, तेलंगाना से केटी रामाराव आदि कई बड़े नेता और सीईओ भी इस बैठक में भाग लेंगे I
इस सम्मेलन की थीम 'हिस्ट्री एट ए टर्निंग पॉइंट' होगी I
बैठक के दौरान चर्चा के प्रमुख बिंदु -
यह सम्मेलन मुख्य रूप से छह मुद्दों पर केंद्रित रहेगा
जिनमें वैश्विक व क्षेत्रीय सहयोग को बढ़ावा देना, भू-राजनीतिक संघर्ष व तनाव के नए युग के साथ-साथ व्यापार, समृद्धि एवं साझेदारी को आगे बढ़ाते हुए स्थिरता बहाल करना, आर्थिक सुधार हासिल करना और विकास के एक नए युग को आकार देना शामिल है I
सम्मेलन में इस बात पर भी चर्चा होगी कि कोरोना महामारी की हेल्थ इमरजेंसी से आगे बढ़ते हुए भविष्य की बीमारियों के मद्देनजर स्वास्थ्य सेवाओं को कैसे मजबूत बनाया जाए I
इस दौरान वैश्विक अर्थव्यवस्था को रफ्तार देने के उपाय सुझाना, चौथी औद्योगिक क्रांति को बढ़ावा देना और जलवायु परिवर्तन जैसी मानवता के लिए सबसे बड़ी चुनौती का सामना करने के रास्ते खोजने पर फोकस किया जायेगा I
वर्ल्ड इकोनॉमिक फोरम(WEF) के बारे में -
वर्ल्ड इकोनॉमिक फोरम स्विट्ज़रलैंड में स्थित एक ग़ैर-लाभकारी संस्था है।
इसका उद्देश्य विश्व के व्यवसाय, राजनीति, शैक्षिक और अन्य क्षेत्रों में अग्रणी लोगों को एक साथ ला कर वैश्विक, क्षेत्रीय और औद्योगिक दिशा तय करना है।
स्थापना- 1971
मुख्यालय- कोलोग्नी, स्विट्ज़र्लैंड
सी.ई.ओ- क्लॉस एम श्वाब
10. माउंट एवरेस्ट पर विश्व का सबसे ऊंचा मौसम केंद्र स्थापित
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विभिन्न मौसमी घटनाओं का अध्ययन करने के लिए माउंट एवरेस्ट पर विश्व के सबसे ऊंचे मौसम केंद्र की स्थापना की गई है।
नेपाल के जल एवं मौसम विज्ञान विभाग के अनुसार, इस मौसम केंद्र को पर्वत रेंज के समिट प्वाइंट (अधिकतम ऊंचाई 8848.86 मी) से कुछ नीचे 8,830 मीटर पर स्थापित किया गया है।
केंद्र को समिट प्वाइंट पर मौजूद बर्फ की वजह से वहां स्थापित करने में दिक्कत आ रही थी।
सौर ऊर्जा से चलने वाला ये मौसम केंद्र तापमान, हवा की गति और दिशा, हवा का दबाव और बर्फ की ऊंचाई में आने वाले बदलावों के साथ कम और अधिक दूरी के रेडिएशन को मापेगा।
महत्वपूर्ण बिंदु -
नेपाल के जल विज्ञान एवं मौसम विभाग और नेशनल जियोग्राफिक ने पहाड़ की स्थितियों के बारे में वास्तविक समय की जानकारी प्रदान करने के लिए नैटजियो द्वारा स्थापित सभी पांच स्वचालित मौसम स्टेशनों को संचालित करने के लिए एक समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए।
इस समझौते के तहत नेशनल जियोग्राफिक की टीम इन केंद्रों का 2025 तक संचालन करेगी। जिसके बाद वर्ष 2026 में तकनीक को नेपाल सरकार को हस्तांतरित कर दिया जाएगा।
अमेरिका की अप्लेशियन स्टेट यूनिवर्सिटी के जलवायु वैज्ञानिक बेकर पेरी के नेतृत्व में नैटजियो टीम में पर्वतारोही और वैज्ञानिक शामिल थे, जिनमें से कई ने मौसम स्टेशन स्थापित करते समय दुनिया की सबसे ऊंची चोटी पर चढ़ाई की।
चीनी मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, बीजिंग में माउंट एवरेस्ट पर 5,200 मीटर से 8,800 मीटर तक आठ स्टेशन हैं, जिसमें 7,000 मीटर से अधिक 7,028 मीटर, 7,790 मीटर, 8,300 मीटर और 8,800 मीटर पर चार स्टेशन हैं।
माउंट एवरेस्ट के बारे में -
माउंट एवरेस्ट एशिया में नेपाल और चीन (तिब्बत) की सीमा पर स्थित वृहद हिमालय पर्वत श्रृंखला का सर्वोच्च शिखर है।
माउंट एवरेस्ट को संस्कृत में देवगिरि, तिब्बती में चोमोलुंग्मा, चीनी भाषा में चु-मु-लांग-मा-फेंग और नेपाली में सागरमाथा कहते हैं।
29 मई 1953 को माउंट एवरेस्ट पर पहली बार न्यूजीलैंड के एडमंड हिलेरी और नेपाली मूल के भारतीय नागरिक तेनसिंह नोर्गे शेरपा चढ़े थे I
माउंट एवरेस्ट की चोटी पर पहुंचने वाली पहली महिला जुन्को तबेई(जापान) है इसके साथ ही यह 7 महाद्वीपों में से प्रत्येक की सबसे ऊंची चोटियों पर चढ़ाई करने वाली पहली महिला भी हैं।
सन 1984 में बछेंद्री पाल माउंट एवरेस्ट पर चढ़ने वाली प्रथम भारतीय महिला है।
एवरेस्ट पर लगातार दो बार चढ़ने वाली प्रथम भारतीय महिला संतोष यादव है।
नेपाल की 52 साल की पर्वतारोही कामी रीता शेरपा ने दुनिया के सबसे ऊंचे पर्वत शिखर माउंट एवरेस्ट पर सबसे ज्यादा बार चढ़ाई पूरी की है इन्होने 25 बार माउंट एवरेस्ट पर चढ़ने में कामयाबी हासिल की है I