भारतीय सेना ड्रोन खतरे से निपटने के लिए कुत्तों और चीलों को प्रशिक्षण दे रही है

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The Indian Army is training dogs and Kites to deal with drone menace

ड्रोन के खतरे से निपटने के लिए भारतीय सेना कुत्तों और चीलों  को ड्रोन की पहचान करने और नष्ट करने का प्रशिक्षण दे रही है। पाकिस्तान से शत्रुतापूर्ण तत्व ड्रोन के माध्यम से भारत में ड्रग्स, हथियार और गोला-बारूद भेज रहे हैं जो भारत के लिए एक सुरक्षा समस्या पैदा कर रहा है।

हाल ही में 24 नवंबर को, जम्मू और कश्मीर पुलिस ने जम्मू के सांबा जिले में एक पाकिस्तानी ड्रोन द्वारा गिराए गए हथियारों और भारतीय मुद्रा की एक खेप बरामद की।

कुत्ते ड्रोन का शोर सुनकर सेना को अलर्ट करते  है और चील का उपयोग ड्रोन के स्थान की पहचान करने के लिए किया जाता है।

उत्तराखंड के औली में भारत-अमेरिका संयुक्त प्रशिक्षण अभ्यास "युद्ध अभ्यास 22" के चल रहे 18वें संस्करण के दौरान 'अर्जुन' नामक एक प्रशिक्षित चील  का प्रदर्शन किया गया। युद्ध अभ्यास का 18वां संस्करण 14 अक्टूबर से 31 अक्टूबर 2022 तक आयोजित किया जा रहा है।

ड्रोन क्या है?

ड्रोन को पायलट रहित विमान या मानव रहित हवाई वाहन (यूएवी) भी कहा जाता है।

यह इंफ्रारेड कैमरा, जीपीएस और लेजर से लैस होते हैं । इसका उपयोग अंतरिक्ष में, सेना में, माल परिवहन के लिए, भूमि मानचित्रण ,कीटनाशकों के छिड़काव आदि के लिए किया जाता है।


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