केंद्रीय पर्यावरण मंत्रालय स्वच्छ वायु सर्वेक्षण शुरू करेगा
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केंद्रीय पर्यावरण वन और जलवायु परिवर्तन ने घोषणा की है की वह स्वच्छ वायु सर्वेक्षण शुरू करने जा रहा है जो 2025-26 तक वायु प्रदूषण को 40% तक कम करने के लिए राष्ट्रीय स्वच्छ वायु कार्यक्रम (एनसीएपी) के हिस्से के रूप में तैयार की गई सिटी एक्शन योजनाओं को लागू करने के लिए देश के 131 शहरों को रैंक करेगा।
केंद्रीय पर्यावरण वन और जलवायु परिवर्तन द्वारा आयोजित 23-24 सितंबर, 2022 को एकता नगर, गुजरात में आयोजित पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्रियों के दो दिवसीय राष्ट्रीय सम्मेलन के दौरान यह घोषित किया गया ।
स्वच्छ वायु सर्वेक्षण के लिए शहरों का वर्गीकरण
मंत्रालय के अनुसार 131 शहरों को जनसंख्या के आधार पर तीन समूहों में बांटा जाएगा।
- पहले समूह में 47 शहर हैं, जिनकी आबादी 10 लाख से अधिक है।
- दूसरे समूह में 44 शहर हैं, जिनकी आबादी 3 से 10 लाख के बीच है।
- तीसरे समूह में 3 लाख से कम आबादी वाले 40 शहर हैं।
शहरों का मूल्यांकन कैसे होगा
प्राण’ ऑनलाइन पोर्टल पर दिए गए फ्रेमवर्क के अनुसार शहरों को स्व-मूल्यांकन करना आवश्यक है। यह आकलन वार्षिक तौर पर किया जाता है। शहरों को ठोस अपशिष्ट प्रबंधन, सड़क धूल प्रबंधन, निर्माण और विध्वंस कचरे के प्रबंधन, वाहनों के उत्सर्जन पर नियंत्रण और औद्योगिक प्रदूषण के संबंध में लागू की गई गतिविधियों तथा उपायों की रिपोर्ट देनी होती है।
स्वच्छ वायु सर्वेक्षण का उद्देश्य
स्वच्छ वायु सर्वेक्षण का उद्देश्य प्रतिस्पर्धी संघवाद की भावना के तहत राज्यों के बीच रचनात्मक प्रतिस्पर्धा को बढ़ावा देना और वायु गुणवत्ता में सुधार के उपाय करना है।
यह सर्वेक्षण शहरों को वायु गुणवत्ता में सुधार के लिए अपने कार्यों की योजना बनाने के लिए एक उपकरण प्रदान करता है।
प्रत्येक समूह में 3 सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करने वाले राज्यों को केंद्रीय मंत्रालय द्वारा नकद पुरस्कार दिया जाएगा।
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