भारत, संयुक्त अरब अमीरात के बीच सबसे बड़ा द्विपक्षीय व्यापार समझौता लागू
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ऐतिहासिक भारत-यूएई व्यापक आर्थिक भागीदारी समझौता (सीईपीए) जिसे 18 फरवरी 2022 को दोनों देशों के बीच हस्ताक्षरित किया गया था, आधिकारिक रूप से 1 मई से लागू हो गया।
समझौते के तहत कपड़ा, कृषि, सूखे मेवे, रत्न और आभूषण के उत्पादों के घरेलू निर्यातकों को यूएई के बाजार में शुल्क-मुक्त पहुंच मिलेगी।
समझौते को अमल में लाने की सांकेतिक शुरुआत करते हुए वाणिज्य सचिव बी वी आर सुब्रमण्यम ने रत्न एवं आभूषण क्षेत्र के तीन निर्यातकों को मूल स्थान प्रमाण-पत्र सौंपे।
व्यापक आर्थिक भागीदारी समझौते (सीईपीए) के तहत दुबई भेजी जाने वाली इन खेप पर सीमा शुल्क नहीं लगेगा।
पृष्ठभूमि
सीईपीए, भारत और संयुक्त अरब अमीरात के बीच एक व्यापक पथ-प्रदर्शक व्यापार समझौते पर 18 फरवरी को प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी और अबू धाबी क्राउन प्रिंस शेख मोहम्मद बिन जायद अल नाहयान के बीच एक आभासी शिखर सम्मेलन के दौरान हस्ताक्षर किए गए थे।
समझौते पर वाणिज्य और उद्योग मंत्री पीयूष गोयल और यूएई के अर्थव्यवस्था मंत्री अब्दुल्ला बिन तौक अल मर्री द्वारा हस्ताक्षर और आदान-प्रदान किया गया।
समझौते का महत्व
यह समझौता भारतीय और संयुक्त अरब अमीरात के व्यवसायों को महत्वपूर्ण लाभ प्रदान करेगा, जिसमें बढ़ी हुई बाजार पहुंच और कम टैरिफ शामिल हैं।
सीईपीए के माध्यम से अगले पांच वर्षों में द्विपक्षीय व्यापार को मौजूदा 60 अरब डॉलर से बढ़ाकर 100 अरब डॉलर तक ले जाने का लक्ष्य है।
कुल मिलाकर, भारत को अपनी 97% से अधिक टैरिफ लाइनों पर संयुक्त अरब अमीरात द्वारा प्रदान की जाने वाली तरजीही बाजार पहुंच से लाभ होगा I
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