मार्च 2023 तक उद्योग को सभी स्वीकृतियां एनएसडब्ल्यूएस द्वारा दी जाएंगी: डीपीआईआईटी

Tags: National Economy/Finance


भारत सरकार , सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को मार्च 2023 तक राष्ट्रीय एकल खिड़की प्रणाली(एनएसडब्ल्यूएस) में  शामिल करने का लक्ष्य रखा है ।

यह 6 सितंबर 2022 को भारत सरकार के उद्योग और आंतरिक व्यापार संवर्धन विभाग (डीपीआईआईटी) द्वारा सूचित किया गया था।


महत्वपूर्ण तथ्य - 

एनएसडब्ल्यूएस क्या है ?

  • एनएसडब्ल्यूएस  को सितंबर 2021 में ‘उद्योग और आंतरिक व्यापार संवर्धन विभाग (डिपार्टमेंट फॉर प्रोमोशन ऑफ इंडस्ट्री एंड इन्टरनल ट्रेड’ -डीपीआईआईटी) और ‘इन्वेस्ट इंडिया’ के द्वारा संयुक्त रूप से  लॉन्च किया गया था।
  • यह एक डिजिटल प्लेटफॉर्म है जहाँ पर निवेशक अपने व्यापार के अवसर को चिन्हित  कर अपनी व्यावसायिक आवश्यकताओं के अनुसार आवेदन कर सकते हैं | 
  • वर्तमान में 15 राज्य/केंद्र शासित प्रदेश एनएसडब्ल्यूएस के साथ एकीकृत हैं। वे आंध्र प्रदेश, गोवा, गुजरात, हिमाचल प्रदेश, जम्मू और कश्मीर, कर्नाटक, मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र, ओडिशा, पंजाब, तमिलनाडु, तेलंगाना, उत्तर प्रदेश ,उत्तराखंड और नागालैंड हैं।

राष्ट्रीय एकल खिड़की प्रणाली का उद्देश्य :

  • एनएसडब्ल्यूएस के मुख्य उद्देश्य इस प्रकार हैं:
  • 1) विभिन्न केंद्रीय मंत्रालयों, विभागों और राज्य सरकारों द्वारा प्रदान की जाने वाली सेवाओं को एकीकृत करके एकल-खिड़की तंत्र स्थापित करना।
  • 2) भारत में व्यवसाय स्थापित करने के लिए आवश्यक पूर्व-स्थापना और पूर्व-संचालन अनुमोदन और परमिट प्राप्त करने के लिए वन-स्टॉप-शॉप प्रदान करना।
  • 3) निवेशकों, उद्योगों और व्यवसायों को कुशल, सुविधाजनक, पारदर्शी और एकीकृत इलेक्ट्रॉनिक सेवा प्रदान करना।

डीपीआईआईटी :

  • उद्योग और आंतरिक व्यापार संवर्धन विभाग (डीपीआईआईटी) ) की स्थापना वर्ष 1995 में हुई थी और वर्ष 2000 में औद्योगिक विकास विभाग के विलय के साथ इसका पुनर्गठन किया गया था।
  • विभाग को पहले औद्योगिक नीति एवं संवर्धन विभाग कहा जाता था और जनवरी, 2019 में इसका नाम बदलकर डीपीआईआईटी कर दिया गया।
  • यह वाणिज्य और उद्योग मंत्रालय के अंतर्गत आता है।


अतिरिक्त जानकारी -

डीपीआईआईटी के महत्वपूर्ण कार्य :

  • यह भारत सरकार की औद्योगिक नीति बनाने में मदद करता है
  • यह प्रत्यक्ष विदेशी निवेश से संबंधित मामलों के लिए नोडल निकाय है।।
  • यह देश के औद्योगिक विकास के लिए निवेश को बढ़ावा देता है।
  • यह बौद्धिक संपदा अधिकारों (आईपीआर) के संरक्षण से संबंधित मामलों के लिए नोडल निकाय है और आईपीआर से संबंधित कानून का प्रशासन करता है।

इन्वेस्ट इंडिया :

  • इन्वेस्ट इंडिया भारत को एक निवेश गंतव्य के रूप में बढ़ावा देने और भारत में प्रत्यक्ष विदेशी निवेश को प्रोत्साहित करने के लिए एक राष्ट्रीय निवेश और संवर्धन एजेंसी है।
  • इसे 2009 में एक कंपनी के रूप में स्थापित किया गया था और 2010 में इसका संचालन शुरू किया गया था।
  • यह सरकार और निजी क्षेत्र का संयुक्त उद्यम है।
  • केंद्र और राज्य सरकार के पास इन्वेस्ट इंडिया में 49% शेयर हैं और बाकी 51% औद्योगिक निकायों (भारतीय ‍वाणिज्य और उद्योग मंडल महासंघ, नेशनल एसोसिएशन ऑफ सॉफ्टवेयर सर्विसेज कंपनीज ऑफ इंडिया,भारतीय उद्योग परिसंघ) के पास हैं।

फुल फॉर्म :

·एनएसडब्ल्यूएस/NSWS :-  नेशनल  सिंगल  विंडो सिस्टम (National Single Window System)

·डीपीआईआईटी/DPIIT :- डिपार्टमेंट फॉर प्रोमोशन ऑफ इंडस्ट्री एंड इन्टरनल ट्रेड (Department for Promotion of Industry and Internal Trade)

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